प्रोटियन ई-गवर्नेंस के शेयर 30% टूटे: PAN 2.0 प्रोजेक्ट में नहीं चुने जाने से भारी गिरावट

पैन कार्ड प्रोसेसिंग में अग्रणी कंपनी प्रोटियन ई-गवर्नेंस टेक्नोलॉजीज (Protean e-Governance Technologies) के शेयरों में भारी गिरावट देखने को मिली है। दो दिन में कंपनी के शेयर करीब 30% टूट चुके हैं, और 20 मई 2025 को यह ₹1,048 पर बंद हुआ। इस गिरावट का मुख्य कारण आयकर विभाग का PAN 2.0 प्रोजेक्ट के लिए प्रोटियन को न चुनना है। इस आर्टिकल में हम इस खबर के हर पहलू, इसके कारण, और कंपनी के भविष्य पर प्रभाव को विस्तार से समझेंगे।

प्रोटियन के शेयर में 30% की गिरावट

19 मई 2025 को प्रोटियन के शेयरों में 20% की भारी गिरावट आई और यह लोअर सर्किट के साथ ₹1,143 पर बंद हुआ। इसके अगले दिन, 20 मई को शेयरों में 9% की और गिरावट दर्ज की गई, जिससे यह ₹1,048 पर पहुंच गया। यह गिरावट आयकर विभाग के PAN 2.0 प्रोजेक्ट के लिए प्रोटियन को न चुनने की खबर के बाद शुरू हुई।

PAN 2.0 प्रोजेक्ट: क्या है मामला?

आयकर विभाग ने अपने महत्वाकांक्षी PAN 2.0 प्रोजेक्ट के लिए मैनेज्ड सर्विस प्रोवाइडर (MSP) चुनने के लिए रिक्वेस्ट फॉर प्रपोजल (RFP) के तहत बोलियां मंगाई थीं। इस प्रोजेक्ट का उद्देश्य पैन कार्ड सिस्टम को डिजिटल और सुरक्षित बनाना है, जिसमें डिजाइन, डेवलपमेंट, इम्प्लीमेंटेशन, ऑपरेशन्स और मेंटेनेंस शामिल हैं। प्रोटियन ने इस बोली में हिस्सा लिया था, लेकिन आयकर विभाग ने कंपनी को अगले दौर के लिए नहीं चुना। इस खबर ने निवेशकों का भरोसा डगमगाया, जिसके चलते शेयरों में भारी गिरावट देखी गई।

प्रोटियन का बयान: कारोबार पर तत्काल असर नहीं

प्रोटियन ने स्टॉक एक्सचेंज को दी गई फाइलिंग में कहा कि PAN 2.0 प्रोजेक्ट का ठेका नहीं मिलने का कंपनी के मौजूदा कारोबार पर तत्काल कोई प्रभाव नहीं पड़ेगा। कंपनी के मैनेजमेंट ने 19 मई को एक कॉन्फ्रेंस कॉल में स्पष्ट किया कि यह प्रोजेक्ट पैन कार्ड के प्रोसेसिंग और डिस्ट्रीब्यूशन से संबंधित नहीं है, जिसमें प्रोटियन अभी सक्रिय रूप से शामिल है। हालांकि, निवेशकों का रुझान इस खबर से प्रभावित हुआ, जिससे शेयरों में गिरावट आई।

प्रोटियन ई-गवर्नेंस टेक्नोलॉजीज: एक नजर

1995 में स्थापित प्रोटियन, जिसे पहले NSDL ई-गवर्नेंस इन्फ्रास्ट्रक्चर लिमिटेड के नाम से जाना जाता था, भारत में डिजिटल पब्लिक इन्फ्रास्ट्रक्चर (DPI) और ई-गवर्नेंस सॉल्यूशन्स की अग्रणी कंपनी है। यह कंपनी निम्नलिखित क्षेत्रों में अपनी सेवाएं देती है:

  • पैन कार्ड प्रोसेसिंग: पैन कार्ड के लिए तकनीकी और ऑपरेशनल सपोर्ट।
  • नेशनल पेंशन स्कीम (NPS): सामाजिक सुरक्षा योजनाओं के लिए तकनीकी सेवाएं।
  • अटल पेंशन योजना: वित्तीय समावेशन को बढ़ावा देने वाली योजनाएं।
  • ONDC (ओपन नेटवर्क फॉर डिजिटल कॉमर्स): डिजिटल कॉमर्स में योगदान।

कंपनी डिजिटल आइडेंटिटी और वित्तीय समावेशन जैसे क्षेत्रों में भी काम करती है, जिससे यह भारत के डिजिटल इकोसिस्टम में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है।

PAN 2.0 प्रोजेक्ट: नए पैन कार्ड में क्या होगा खास?

PAN 2.0 प्रोजेक्ट आयकर विभाग का एक महत्वपूर्ण कदम है, जिसके तहत नए डिजिटल ई-पैन कार्ड जारी किए जाएंगे। इन कार्ड्स में निम्नलिखित विशेषताएं होंगी:

  • क्यूआर कोड: बेहतर सुरक्षा और धोखाधड़ी से बचाव के लिए।
  • डिजिटल इंटीग्रेशन: पैन सिस्टम को और अधिक डिजिटल और यूजर-फ्रेंडली बनाना।
  • वैकल्पिक अपग्रेड: मौजूदा पैन कार्ड धारकों को नए कार्ड के लिए आवेदन करने की जरूरत नहीं है, लेकिन वे चाहें तो अप्लाई कर सकते हैं।

Protean e-Governance Technologies: निवेशकों के लिए चिंता

प्रोटियन ई-गवर्नेंस टेक्नोलॉजीज के शेयरों में 30% की गिरावट ने निवेशकों का ध्यान खींचा है। PAN 2.0 प्रोजेक्ट में कंपनी का चयन न होना इसकी मुख्य वजह है। हालांकि, कंपनी का दावा है कि इससे उसके कारोबार पर तत्काल असर नहीं पड़ेगा। निवेशकों और मार्केट एनालिस्ट्स अब प्रोटियन के अगले कदमों पर नजर रखे हुए हैं। अगर आप इस खबर से जुड़े अपडेट्स चाहते हैं, तो हमारी वेबसाइट को फॉलो करें और नवीनतम शेयर मार्केट न्यूज से अपडेट रहें।

डिस्क्लेमर: इस आर्टिकल में दी गई जानकारी सामान्य ज्ञान और समाचार के आधार पर तैयार की गई है। यह निवेश सलाह, वित्तीय सुझाव या किसी प्रकार की सिफारिश नहीं है। शेयर बाजार में निवेश जोखिमों के अधीन है, और निवेश से पहले आपको स्वतंत्र वित्तीय सलाहकार से परामर्श करना चाहिए। नवीनतम और सटीक जानकारी के लिए आधिकारिक स्रोतों और स्टॉक एक्सचेंज फाइलिंग्स की जांच करें।

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